Wednesday, 19th August 2020
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केटा ने टीवी पर अपने संबोधन में कहा कि वह संसद और सरकार को भी बाधित कर रहे हैं।
उन्होंने कहा, "मैं अपने शासनकाल के दौरान रक्तपात नहीं करना चाहता। यदि आज हमारे सशस्त्र बलों के कुछ लोग अपने हस्तक्षेप के साथ मेरे शासन को समाप्त करना चाहते हैं, तो मेरे पास क्या विकल्प है?"
इस घोषणा के कुछ ही घंटे पहले, माली में विद्रोही सैनिकों ने राष्ट्रपति इब्राहिम बुबकर केटा और प्रधान मंत्री बोबू सिसे को हिरासत में ले लिया।
माली की राजधानी बामाको के पास एक महत्वपूर्ण सैन्य शिविर में गोलियों की आवाज़ के साथ मंगलवार को सेना का विद्रोह शुरू हुआ।
असंतुष्ट कनिष्ठ अधिकारियों ने बमाको से 15 किमी दूर काटी कैंप में कमांडरों को हिरासत में लिया और फिर कैंप पर कब्जा कर लिया। इसके बाद युवाओं ने शहर की सरकारी इमारतों को आग लगा दी। राष्ट्रपति के इस्तीफे की मांग को लेकर माली में विरोध प्रदर्शन भी चल रहे थे।
माली की सेना में जिहादी चरमपंथियों और उनके वेतन के खिलाफ लंबे समय से गुस्सा था। केटा ने वर्ष 2018 में लगातार दूसरी बार चुनाव जीता था, लेकिन उनके शासन ने भ्रष्टाचार, अर्थव्यवस्था के कुप्रबंधन और सांप्रदायिक हिंसा के आरोपों के बीच गुस्से को भी बढ़ाया था।
इन कारणों के कारण, हाल के कुछ महीनों में माली में बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन हुए। इसके बाद रूढ़िवादी इमाम महमूद डिको के नेतृत्व में एक नए विपक्षी गठबंधन का उदय हुआ। यह गठबंधन नए सुधारों और मिश्रित सरकार की मांग कर रहा था।