आपको बता दें कि यह याचिका ARG Outlier Media Pvt Ltd और रिपब्लिक टीवी के एडिटर-इन-चीफ अर्नब गोस्वामी ने दायर की है। याचिका ने टीआरपी घोटाले में गणतंत्र के अधिकारियों को जारी किए गए समन को चुनौती दी। याचिका में महाराष्ट्र सरकार के अलावा, मुंबई पुलिस आयुक्त परमबीर सिंह, कांदिवली पुलिस स्टेशन के एसएचओ, मुंबई क्राइम ब्रांच, हंसा रिसर्च ग्रुप और भारत सरकार को पक्षकार बनाया गया है।
कोर्ट ने याचिकाकर्ताओं से पूछा कि वे पहले बॉम्बे हाई कोर्ट क्यों नहीं गए? कोर्ट ने कहा कि 'हाईकोर्ट पहले ही इस मामले को जब्त कर चुका है। एचसी के बिना इस याचिका पर विचार करने से एक संदेश जाएगा कि हमें उच्च न्यायालयों पर भरोसा नहीं है।
यह भी पढ़े: रिपब्लिक टीवी के कार्यकारी संपादक निरंजन नारायणस्वामी और अभिषेक कपूर से होगी पूछताछ
सुनवाई करते हुए जस्टिस चंद्रचूड़ ने कहा कि याचिकाकर्ता का कार्यालय वर्ली में है। जहां तक फ्लोरा फाउंटेन की बात है, तो बॉम्बे हाई कोर्ट भी दूर है। इसलिए आप बॉम्बे हाई कोर्ट जा सकते हैं। अदालत ने कहा कि सीआरपीसी के तहत जांच का सामना करने वाले किसी भी सामान्य नागरिक की तरह आपको भी उच्च न्यायालय जाना चाहिए।
इसके बाद, रिपब्लिक टीवी ने सुप्रीम कोर्ट से अपनी याचिका वापस ले ली। हालांकि, न्यायमूर्ति डी वाई चंद्रचूड़ ने मुंबई पुलिस आयुक्त परमवीर सिंह के साक्षात्कार का भी उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि 'हम साक्षात्कार देने के लिए पुलिस आयुक्त की प्रवृत्ति से चिंतित हैं।'